रानीखेत (अल्मोड़ा )उत्तराखंड
नमस्कार दोस्तों हम आपको आज रानीखेत के बारे मे बताएंगे आप अपनी दोड़ भाग जिंदगी से कुछ समय के लिए कही घूमना चाहते है तो रानीखेत आपके लिए बेस्ट लोकेसन हो सकती है । रानीखेत (अल्मोड़ा ) उत्तराखंड के छोटे से जिले अल्मोड़ा मे स्थित है , यह समुन्द्र तल से 1,869 m मे स्थित है । रानीखेत बहुत ठंडा इलाका है , यहा दिसंबर व जनवरी माह मे बर्फ भी गिरती है। यह टुरिस्ट का मुख्य आकरसन केंद्र है , अधिकतम टुरिस्ट यहा गमियों मे आते है । यहा देवदार ,चीड़ इत्यादि के पेड़ है जो इसकी सुंदरता पार चार - चाँद लगा देते है । रानीखेत अपनी सुंदरता के साथ -साथ दो ओर बड़ी चीजों के लिए जाना जाता है । जिसमे पहले है कुमाऊ रेजीमेंट ओर नागा रेजमेन्ट का घर । दोस्त मे आपको बताऊ , रानीखेत मे कुमाऊ ओर नागा रेजीमेंट की training होती है । जिसमे आप सोमनाथ ग्राउन्ड का आनंद ले सकते है । रानीखेत मे जाते समय आपको हमारे देश के कुमाऊ ओर नागा के जवान दिखाई देते है , जो रानीखेत की खूबसूरती को चार चाँद लगते है । दूसरी बड़ी चीज है यहा का मोसम , ओर अलग - अलग से टुरिस्ट प्लेस । रानीखेत मे आपको घूमने के लिए रानी झील , गोल्फ ग्राउन्ड मिलता है , यहा आप पिकनिक , फोटोशूट , कैम्पिंग कर सकते है । रानीखेत से आप द्वारहाट , दुनागिरी मंदिर , पांडुखोली भी घूमने जा सकते है । यह आपको रात्री के लिए रुकने के लिए अच्छे hotel कम दाम मे उपलब्ध हो जाएंगे ।
HOW TO REACH Ranikhet ? : रानीखेत कैसे पहुचे ?
रानीखेत आने के साधन - हम आपको बता दे की रानीखेत आने के बहुत से साधन है ,आप अपनी पर्सनल गाड़ी या टैक्सी का प्रयोग कर सकते है । हल्द्वानी से रानीखेत की दूरी 95 किलोमीटर है तथा द्वारहाट से दूरी 33.6 किलोमीटर है । यह एक अच्छी पक्की सड़क है ।
रानीखेत फोटो
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Ranikhet
Ranikhet is a major hill tourist destination in the state of Uttarakhand, India. It is a military cantonment located under Almora district of the state. Ranikhet is a very beautiful hill station surrounded by deodar and oak trees. The snow-capped central Himalayan ranges can be clearly seen from this location.
Ranikhet Height
Ranikhet is at an altitude of 1,869 metres
How to reach ranikhet
If you are coming from New delhi.There are two ways to reach Ranikhet from New Delhi.
There is a direct cab from New Delhi to Ranikhet. The minimum time taken by a cab from New Delhi is 8h 13m. The cheapest way to reach from New Delhi to Ranikhet is train firstly you take train from delhi to kathgodam , then cab to Ranikhet. The recommended way to reach from New Delhi to Ranikhet is cab to Ranikhet and takes 8h 13m.If you take flight from new delhi the nearest airpot is pantnagar , and then cab to ranikhet.The Distance between Delhi to Ranikhet by road is 372kms.
If you are coming from Nainital
How far is ranikhet from Nainital?
Distance between Ranikhet to Nainital by Road is 56 Kms.
Ranikhet history (रानीखेत का इतिहास)
अंग्रेजो से हारने के बाद 3 मई 1815 को गोरखाओं ने कुमाऊं को अंग्रेजों को सौंप दिया। अल्मोड़ा में विजय के बाद, 1839 तक अंग्रेजी सेना के सैनिक और अधिकारी हवलबाग में रहते थे। बाद में सेना के कार्यालयों को अल्मोड़ा में स्थानांतरित किया गया और सेना को लोहाघाट और पिथौरागढ़ में तैनात कर दिया गया। इस सेना को बाद में कुमाऊं बटालियन के नाम से जाना जाने लगा। 1846 में इसे वापस अल्मोड़ा के लालमांडी किले में स्थानांतरित किया गया, जहां यह रानीखेत छावनी बनने तक बटालियन यही तैनात रही।
1869 में ब्रिटिश सरकार ने रानीखेत में कुमाऊं रेजिमेंट के मुख्यालय की स्थापना की, और भारतीय गर्मियों से बचने के लिए हिल स्टेशन के रूप में इस नगर का प्रयोग किया जाने लगा। ब्रिटिश शासनकाल में, यह नगर एक समय में भारत सरकार के ग्रीष्मकालीन मुख्यालय के रूप में भी प्रस्तावित किया गया था। स्वच्छ सर्वेक्षण 2018 के अनुसार रानीखेत, दिल्ली और अल्मोड़ा छावनियों के बाद भारत की तीसरी सबसे स्वच्छ छावनी है। 1913 में इसे पाली तहसील का मुख्यालय बनाया गया, जिसका नाम बाद में रानीखेत तहसील कर दिया गया था।
रानीखेत का नाम रानीखेत कैसे पड़ा? (How did Ranikhet get its name Ranikhet?)
एक पौराणिक कथा के अनुसार, रानी पद्मिनी के कारण ही रानीखेत का नाम पड़ा। रानी पद्मिनी राजा सुखदेव की पत्नी थीं, जो वहाँ के राज्य के शासक थे। रानीखेत की प्राकृतिक सुंदरता को देखकर राजा और रानी बहुत प्रभावित हुए और उन्होंने तब से यहाँ रहने का निर्णय लिया। परन्तु रानीखेत में कोई महल नहीं है।
रानीखेत जिला (Ranikhet District)
भारत की स्वतंत्रता के बाद से ही अल्मोड़ा जिले को बांटकर अलग रानीखेत जिला बनाने की मांग उठती रही है। 1960 के दशक से ही रानीखेत जिले के लिए आंदोलन शुरू हो गए थी, और 1985 तक इन आंदोलनों की संख्या बहुत ज्यादा बढ़ गयी थी। 1987 में उत्तर प्रदेश राजस्व परिषद के अध्यक्ष वैंकट रमानी की समिति ने जिले की संस्तुति की और फिर इसके 2 वर्ष बाद 1989 में आठवें वित्त आयोग ने जिले को वित्तीय मंजूरी भी प्रदान कर दी। लेकिन इसके बाद भी जिले का गठन नहीं हुआ। 2004-05 में फिर से लोग जिले की मांग को लेकर आंदोलन शुरू कर दिए। 2007 में प्रशासन ने राज्य सरकार को रानीखेत जिले का आधिकारिक प्रस्ताव भेजा। इस प्रस्ताव के अनुसार रानुखेत जिले में छह ब्लॉक, पांच तहसीलें, 1309 राजस्व गांव, 59 न्याय पंचायतें तथा 120 पटवारी क्षेत्र शामिल किए गए थे। लेकिन इसके बाद भी रानीखेत जिला नहीं बन पाया, 2012 के लोकसभा चुनाव के बाद से यह मामला खामोस हो गया।
Ranikhet Tourist Place (रानीखेत में घूमने के स्थान?)
सैंट ब्रिजेट चर्च
कुमाऊँ रेजिमेंटल सेंटर
आशियाना पार्क
मनकामेश्वर मंदिर
रानी झील
भालूधाम
ताड़ीखेत
चौबटिया
झूला देवी मंदिर
Ranikhet Temperature (रानीखेत जलवायु)
रानीखेत का मौसम सर्दियों में बहुत ठंडा होता है, और गर्मियों में यहाँ का मौसम बहुत ही सुहावना रहता है। सर्दी के मौसम में रानीखेत में बर्फ भी पड़ती है। जून-जुलाई में यहाँ का तापमान 28°/ 17° - 23°/ 17° रहता है। और वही दिसम्बर - जनवरी में यहाँ का तापमान 15°/ 2°- 11°/ 2° रहता है।
How to reach Ranikhet? (रानीखेत कैसे पहुंचे?)
सड़क मार्ग (By Road) : रानीखेत पहुंचने के लिए आप अपनी पर्सनल गाड़ी या टैक्सी का भी इस्तेमाल कर सकते है। यहाँ आने वाली सड़क पक्की और चौड़ी है। हल्द्वानी से रानीखेत की दुरी 87.7 km है।